सोमवार, 17 नवंबर 2025

गौतमबुद्धनगर: अखलाक लिंचिंग केस फिर चर्चा में, यूपी शासन ने आरोपियों के केस वापस लेने की प्रक्रिया शुरू की!!

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गौतमबुद्धनगर: अखलाक लिंचिंग केस फिर चर्चा में, यूपी शासन ने आरोपियों के केस वापस लेने की प्रक्रिया शुरू की!!

 !!वरिष्ठ संवाददाता देव गुर्जर!!

ग्रेटर नोएडा के बहुचर्चित अखलाक लिंचिंग केस पर एक बार फिर सियासी और कानूनी हलचल तेज हो गई है।
उत्तर प्रदेश शासन ने CRPC की धारा 321 के तहत आरोपियों पर दर्ज मुकदमों को वापस लेने की कवायद शुरू कर दी है, जिसके बाद मामला नई बहस को जन्म दे रहा है।

अखलाक पक्ष के वकील ने सरकार की इस पहल पर कड़ा ऐतराज जताते हुए स्पष्ट कहा कि “न्यायालय इंसाफ करेगा, शासन नहीं। इस स्टेज पर आकर केस वापसी की अनुमति नहीं दी जाएगी।”
वकील के मुताबिक मामले में महत्वपूर्ण गवाहों के बयान दर्ज हो रहे हैं—अखलाक की बेटी का बयान अदालत में दर्ज किया जा चुका है, जबकि एक और चश्मदीद के बयान का इंतज़ार है।

दूसरी ओर, पुलिस की चार्जशीट में लाठी-डंडों सहित कई महत्वपूर्ण बरामदगियां दर्ज हैं, जिन्हें आधार बनाते हुए अखलाक पक्ष का दावा है कि मामला मजबूत है और केस वापसी का कोई औचित्य नहीं है।

इस घटना ने 2015 में पूरे देश को झकझोर दिया था, जब जारचा थाना क्षेत्र के बिसाहड़ा गांव में मोहम्मद अखलाक की पीट-पीटकर हत्या कर दी गई थी।
अब, लगभग एक दशक बाद, सरकार द्वारा मुकदमा वापस लेने की पहल से पूरा मामला एक बार फिर गंभीर कानूनी और राजनीतिक बहस के केंद्र में आ गया है।।