बुधवार, 10 दिसंबर 2025

गौतमबुद्धनगर: नोएडा सिटीजन फोरम ने प्राधिकरण पर उठाए गंभीर सवाल—लोकपाल नियुक्ति और शहर की बिगड़ती व्यवस्थाओं पर जोरदार चेतावनी!!

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गौतमबुद्धनगर: नोएडा सिटीजन फोरम ने प्राधिकरण पर उठाए गंभीर सवाल—लोकपाल नियुक्ति और शहर की बिगड़ती व्यवस्थाओं पर जोरदार चेतावनी!!

 !!वरिष्ठ संवाददाता देव गुर्जर!!

दो टूक:: नोएडा। शहर की लगातार बिगड़ती व्यवस्थाओं और नागरिक जीवन पर हो रहे संकटों को लेकर नोएडा सिटीजन फोरम ने सोमवार को नोएडा मीडिया क्लब में प्रेसवार्ता की। फोरम के चेयरमैन एवं रिटायर्ड आईएएस डॉ. योगेन्द्र नारायण की अध्यक्षता में आयोजित इस प्रेसवार्ता में फोरम ने नोएडा प्राधिकरण और स्थानीय जनप्रतिनिधियों की निष्क्रियता पर कड़ा सवाल उठाया और शहर में सुधार के लिए तत्काल कदम उठाने की मांग की।

लोकपाल की नियुक्ति पर जोर

डॉ. नारायण ने कहा कि नोएडा प्राधिकरण में लोकपाल की नियुक्ति अत्यंत आवश्यक है, ताकि भ्रष्टाचार पर नियंत्रण और प्रशासन में पारदर्शिता सुनिश्चित की जा सके। उन्होंने कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा निर्देशित एसआईटी और नागरिक सलाहकार बोर्ड के गठन के बावजूद कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है, जो नागरिकों के अधिकारों की अवहेलना है। फोरम ने इसे शहरी प्रशासन में जवाबदेही और पारदर्शिता सुनिश्चित करने के लिए जरूरी कदम बताया।

रजिस्ट्री और बिल्डर घोटाले पर फोरम का तीखा रुख

फोरम ने रजिस्ट्री संकट को शहर की सबसे बड़ी समस्या बताते हुए कहा कि हजारों परिवार भुगतान करने के बावजूद रजिस्ट्री से वंचित हैं।
फोरम ने इसके पीछे कई कारण बताए—

  • बिल्डरों द्वारा मनमाना ट्रांसफर चार्ज
  • अन-रजिस्टर्ड फ्लैटों की अवैध बिक्री
  • प्राधिकरण की नोटिसों और शिकायतों की अनदेखी

फोरम ने मांग की कि पूर्ण-भुगतान वाले सभी फ्लैटों की रजिस्ट्री तुरंत खोली जाए।

सफाई, जल, बिजली और सुरक्षा पर गंभीर चेतावनी

महासचिव प्रशांत त्यागी ने कहा कि शहर में बढ़ते अवैध निर्माण, डंपिंग साइटों में आग लगना, हाई-राइज़ इमारतों में फायर सेफ्टी की कमी, कचरा प्रबंधन की विफलता, जल संकट, बिजली कटौती, टूटे केबल, और ई-रिक्शा की अव्यवस्था नागरिकों के लिए बड़ा खतरा बन चुकी है। उन्होंने कहा कि ये सभी मुद्दे केवल प्रशासन की लापरवाही नहीं, बल्कि नागरिक सुरक्षा पर सीधा हमला हैं।

सशक्त शिकायत निवारण और नागरिक भागीदारी की मांग

फोरम की संरक्षक शालिनी सिंह ने कहा कि शहर में सशक्त शिकायत निवारण पोर्टल, अद्यतन सिटीजन चार्टर, और प्राधिकरण की बोर्ड बैठकों में सिविल सोसाइटी की औपचारिक भागीदारी सुनिश्चित की जानी चाहिए। उन्होंने जोर देकर कहा कि नागरिकों के अधिकार, पारदर्शी प्रशासन और बेहतर शहरी प्रबंधन के लिए फोरम लगातार संघर्ष करता रहेगा।

फोरम ने सरकार से अपील की कि वे तत्काल प्रभाव से सुधारात्मक कदम उठाएं और शहरवासियों के जीवन को संकटमुक्त बनाएं।

इस अवसर पर फोरम के अध्यक्ष डॉ. एम. के. अग्रवाल, कार्यकारी अध्यक्ष इंद्राणी मुखर्जी, सचिव गरिमा त्रिपाठी, राहुल मुंद्रा, अंकित अरोरा, कमल सिंह, राजश्री गुप्ता और रेणु बाला शर्मा सहित अन्य सदस्य उपस्थित रहे।।