लखनऊ :
छठ महापर्व की छटा में डूबा शहर,
व्रतधारियों ने मंगल की कामना।
दो टूक :अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देकर ब्रतधारी महिलाओं ने छठ का पवित्र व्रत संपन्न किया।
विस्तार :
बताते चले कि दीपावली के छठे दिन मनाया जाने वाला यह महापर्व कार्तिक शुक्ल पक्ष में श्रद्धा, आस्था और भक्ति का संगम माना जाता है।
तीन दिनों तक निराहार और निर्जल रहकर महिलाएँ इस व्रत को पूर्ण करती हैं। पहले दिन ‘नहाय खाय’ से शुरुआत होती है, दूसरे दिन ‘खरना’ और ‘छोटी छठ’ के अवसर पर अस्त होते सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है। इसके बाद तीसरे दिन प्रातःकाल उगते हुए सूर्य को अर्घ्य अर्पित कर महिलाएँ व्रत का समापन करती हैं।
यह पर्व मुख्यतः बिहार और पूर्वांचल का महापर्व माना जाता है, परंतु अब इसकी भव्यता पूरे देश में देखने को मिलती है।
इसी क्रम में राजधानी लखनऊ के थाना कृष्णा नगर क्षेत्र के ओशो नगर और कनौसी में भी छठ महापर्व का आयोजन श्रद्धा और भक्ति के साथ किया गया।
यहाँ श्रीमती सुशीला देवी, पत्नी स्वर्गीय गया शंकर लाल ने अपने पूरे परिवार के साथ पारंपरिक विधि-विधान से छठ महापर्व मनाया।
इस अवसर पर शैल सिन्हा, मंजू श्रीवास्तव, रेखा सक्सेना, अर्चना श्रीवास्तव, विनोद श्रीवास्तव, वैभव सक्सेना, अनुज शुक्ला, रिंकू तिवारी, ओजस कुमार, आकांक्षा सिन्हा, नम्रता गुप्ता, हर्षिका श्रीवास्तव, अनन्या सक्सेना, राकेश श्रीवास्तव, शुभावती श्रीवास्तव सहित क्षेत्रीय सम्मानित नागरिक, महिलाएँ, बच्चे और बुजुर्ग बड़ी संख्या में उपस्थित रहे।
●सूर्यास्त और सूर्योदय के समय पूरे क्षेत्र में छठ गीतों की मधुर गूंज, दीपों की रौशनी और भक्तिमय माहौल ने सबको भाव-विभोर कर दिया।
●“लखनऊ में छठ महापर्व की आस्था और भक्ति का अनोखा संगम देखने को मिला — महिलाओं ने अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य देकर सुख-समृद्धि की कामना की।”
