बुधवार, 10 सितंबर 2025

अम्बेडकरनगर : समृद्धि कला समेकित शिक्षणशास्त्र प्रतियोगिता में शिक्षकों की रचनात्मकता का अद्भुत संगम।||Ambedkar Nagar : A wonderful confluence of teachers' creativity in Samriddhi Kala Integrated Pedagogy Competition.||

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अम्बेडकरनगर : 
समृद्धि कला समेकित शिक्षणशास्त्र प्रतियोगिता में शिक्षकों की रचनात्मकता का अद्भुत संगम।
।। ए के चतुर्वेदी।।
दो टूक : विकसित भारत अभियान एवं समग्र शिक्षा अभियान के अंतर्गत "समृद्धि-2025" जिला स्तरीय कला समेकित शिक्षणशास्त्र प्रतियोगिता का भव्य आयोजन 10 सितम्बर को पं. दीनदयाल उपाध्याय राजकीय माॅडल इंटर कॉलेज, जाफरगंज अम्बेडकर नगर में सम्पन्न हुआ।
इस प्रतियोगिता में जनपद के राजकीय, राजकीय आश्रम पद्धति, अशासकीय सहायता प्राप्त, वित्तविहीन, सीबीएसई एवं आईसीएससी विद्यालयों के 50 से अधिक शिक्षक-शिक्षिकाओं ने प्रतिभाग कर अपनी रचनात्मकता, नवाचार और शिक्षण कौशल का उत्कृष्ट प्रदर्शन किया।
विस्तार :
आयोजित प्रतियोगिता मे जनपद के तमाम रचना धर्मिता प्रधान शिक्षकगण ने सहभागिता की और प्रतियोगिता के निर्णायक मंडल में रमाबाई राजकीय महिला महाविद्यालय से डा. रवीन्द्र कुमार वर्मा तथा बीएनकेबी पीजी कॉलेज से डा. कमल त्रिपाठी सम्मिलित रहे, जिन्होंने प्रतिभागियों की प्रस्तुतियों का मूल्यांकन किया।
कार्यक्रम के नोडल अधिकारी एवं प्रधानाचार्य पं. दीनदयाल उपाध्याय राजकीय माॅडल इंटर कॉलेज, जाफरगंज विवेक पटेल ने प्रतियोगिता में आए हुए सभी प्रतिभागियों एवं विशिष्ट अतिथियों का हार्दिक स्वागत किया और इस पहल को शिक्षकों के कौशल विकास व शिक्षा की गुणवत्ता वृद्धि की दिशा में एक सार्थक प्रयास बताया। उन्होंने कहा कि –
ऐसे आयोजन न केवल शिक्षकों की प्रतिभा को मंच प्रदान करते हैं, बल्कि शिक्षा पद्धति में नवीन प्रयोगों को भी प्रोत्साहित करते हैं।

राजकीय हाईस्कूल लखनपुर के सामाजिक विज्ञान शिक्षक मुकेश कुमार वर्मा ने कहा कि "इस प्रकार की प्रतियोगिताएँ शिक्षण कार्य को और अधिक प्रभावी तथा रोचक बनाती हैं। हमें इससे नवीन शिक्षण तकनीकों को अपनाने की प्रेरणा मिलती है।

जी. के. जेटली इंटर कॉलेज अकबरपुर के चित्रकला शिक्षक अमित यादव ने अपने विचार व्यक्त करते हुए कहा –
कला आधारित शिक्षण विद्यार्थियों की जिज्ञासा और रचनात्मकता को बढ़ावा देता है। ऐसे मंच शिक्षकों को अपनी शिक्षण पद्धति को और समृद्ध करने का अवसर प्रदान करते हैं।"
एस. बी. नेशनल इंटर कॉलेज बसखारी के शिक्षक सैयद इमरान अली ने अपने लेख में उल्लेख किया कि –आज के समय में कला आधारित शिक्षण केवल विद्यार्थियों की समझ को गहरा नहीं करता, बल्कि उन्हें जीवन से जोड़ता है। शिक्षण तभी सार्थक होता है जब वह बालमन को छू सके और उसमें नए विचारों के प्रति उत्सुकता जगा सके। समृद्धि-2025 जैसी प्रतियोगिताएँ इसी दिशा में प्रेरणादायक पहल हैं।"
यह प्रतियोगिता शिक्षकों के लिए रचनात्मकता, नवाचार और शिक्षण कौशल का मंच* साबित हुई, जिसने शिक्षा जगत में सकारात्मक ऊर्जा और नए प्रयोगों के प्रति उत्साह का संचार किया।