बुधवार, 3 दिसंबर 2025

लखनऊ : यूपीएसआईएफएस में क्राइम सीन मैनेजमेन्ट कोर्स का हुआ शुभारम्भ।||Lucknow: Crime Scene Management Course inaugurated at UPSIFS.||

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लखनऊ : 
यूपीएसआईएफएस में क्राइम सीन मैनेजमेन्ट कोर्स का हुआ शुभारम्भ।
फोरेंसिक एक्सपर्ट विवेचना का नीवः डॉ. जी.के. गोस्वामी।।
दो टूक : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के निर्देशों के क्रम में पुलिस महानिदेशक उ0प्र0 राजीव कृष्णा के मार्गदर्शन में बुधवार को उत्तर प्रदेश स्टेट इंस्टीट्यूट आफ फॉरेंसिक साइन्स लखनऊ में “क्राइम सीन मैनेजमेन्ट” कोर्स का शुभारम्भ किया गया। प्रशिक्षण कार्यक्रम का शुभारंभ UPSIFS के संस्थापक निदेशक डॉ जी.के. गोस्वामी एवं अपर पुलिस महानिदेशक तकनीकी सेवायें नवीन अरोरा (आईपीएस) ने किया। क्राइम सीन मैनेजमेन्ट कोर्स में प्रदेश के विभिन्न जनपदों से आरक्षी मुख्य आरक्षी तथा उप निरीक्षक स्तर के 100 प्रशिक्षणार्थियों ने प्रतिभाग किया। इस अवसर पर एडीजी नवीन अरोरा को निदेशक यूपीएसआईएफएस सहित अपर निदेशक राजीव मलहोत्रा, अपर पुलिस अधीधक  जितेन्द्र श्रीवास्तव तथा अतुल यादव ने सैपलिन तथा प्रतीक चिन्ह भेंट कर सम्मानित भी किया।
विस्तार : 
उत्तर प्रदेश स्टेट इंस्टीट्यूट आफ फॉरेंसिक साइन्स लखनऊ में “क्राइम सीन मैनेजमेन्ट” कोर्स के शुभारम्भ पर डॉ जी.के. गोस्वामी ने बताया कि यह कोर्स 45 दिवस तक चलेगा जिसे नये कानून के दृष्टिगत पुलिस की आज की आवश्यकताओं के दृष्टिगत डिजायन किया गया है। उन्होंने  कहा कि इस कोर्स को संस्थान के विषय विशेषज्ञों द्वारा पढाया जायेगा।
डॉ. गोस्वामी ने प्रशिक्षणार्थियों को नये कानून बीएनएसएस की धारा 176(3) के संदर्भ में  संबोधित करते हुए कहा कि सात साल या सात साल से अधिक की सजा वाले अपराध की घटना स्थल का निरीक्षण प्रत्येक दशा में फोरेंसिक टीम के सदस्य द्वारा की जायेगी इस दशा में आप का काम अति महत्वपूर्ण हो जाता है। उन्होंने कहा कि आप विवेचना की पहली धूरी होंगे। आप नीव है जहां विवेचना की बिल्डिंग खड़ी होगी । उन्होंने निठारी काण्ड में अभियुक्तों को छूटने में आयी खामियों पर भी प्रकाश  डाला। 
इस अवसर पर अपर पुलिस महानिदेशक तकनीकी सेवायें, श्री नवीन अरोरा ने प्रशिक्षणार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि घटना स्थल से यदि सैम्पल सही तरीके से उठायें जाय तो कोइ निर्दोष कभी भी अपराध में नहीं फंस पायेगा न सजा पायेगा और निर्दोष को बचाना एक पूण्य काम है। उन्होंने  घटना स्थल से विभिन्न प्रकार के सैंपल को अलग-अलग तरीकों से किस तरह से उठाया जाय उसके विधि पर प्रकाश  डाला। उन्होंने कहा कि सैंपल उठाने से लेकर उसके चेन कस्टडी में अगर कहीं भी चूक हुई तो उसका लाभ अपराधी को मिल सकता है। उन्होंने संस्थान के प्रति आभार व्यक्त करते हुए प्रशिक्षणार्थियों से कहा कि “ क्राइम सीन मैनेजमेन्ट” का यह पहला कोर्स है और आप सभी संकल्प के साथ सर्वश्रेष्ठता का उदाहरण बनें।
कार्यक्रम के अंत में अपर निदेशक/डीआईजी श्री राजीव मल्होत्रा ने सभी का आभार व्यक्त किया। इस अवसर पर अपर पुलिस अधीक्षक श्री जितेन्द्र श्रीवास्तव, श्री अतुल यादव, उप निदेशक अतुल त्रिपाठी, वैज्ञानिक अधिकारी श्री विवेक कुमार, उदय प्रताप सिंह जनसंपर्क अधिकारी श्री संतोष तिवारी, आरआई श्री वृजेष सिंह, फेकल्टी डा निताश, डॉ. पोरवी सिंह, डॉ स्वनिल, डॉ. पलक अनेजा, डॉ मनीष राय, श्री गिरिजेश राय तथा श्री कार्तिकेय सहित अन्य उपस्थित रहे।